मेरे प्यारे इस्लामी भाइयों आज मैं कुर्बानी की अहमियत हदीस की रोशनी में आपको बताऊंगा कुर्बानी के बेशुमार फ़ज़ाइल हैं नबी ए करीम सल्लल्लाहो ताला अलैहि वसल्लम ने इसके बहुत ज्यादा फजीलत बयान की है आप से गुजारिश है कि आप पूरा पढ़ें और अपने दोस्तों को भी शेयर कर दें|
सबसे अच्छी कुर्बानी कौन सी है
हजरत अबू हुरैरा रजि अल्लाह ताला अनहु से रिवायत है उन्होंने फरमाया कि मैंने रसूलुल्लाह सल्लल्लाहो ताला अलैहि वसल्लम को फरमाते हुए सुना सबसे अच्छी कुर्बानी दुनबे के छोटे बच्चे की कुर्बानी है 2023 बकरा ईद 2023 बकरा ईद की फजीलत ,2023 मैं बकरा ईद कब है ,2023 बकरा ईद की कुर्बानी के तरीके
कुर्बानी की कुछ फजीलत है
हजरत आयशा सिद्दीका रजि अल्लाहु ताला अन्हा से रिवायत है कि अल्लाह के रसूल सल्लल्लाहो ताला अलेही वसल्लम ने इरशाद फरमाया की अल्लाह ताला के नजदीक कुर्बानी के दिन इंसान के आमाल में सबसे ज्यादा पसंदीदा खून बहाना है और बेशक वह जानवर कयामत के दिन अपनी सींघ बाल और खुर के साथ आएगा . और बेशक कुर्बानी के जानवर का खून जमीन पर गिरने से पहले ही वह अल्लाह तबारक व ताला की बारगाह में मकबूल हो जाता है तो लोगों क़ुरबानी को दिल की भलाई के साथ करो तो उस पर तुम्हें सवाब मिलेगा और अल्लाह तबारक व ताला की बारगाह में क़ुबूल होगा
कुर्बानी करना यह जहन्नम की आग से हिजाब यानी पर्दा होगा
हजरत इमाम हसन बिना अली रजि अल्लाह ताला अनहुमा से रिवायत है की हुज़ूर सल्लल्लाहो ताला अलेही वसल्लम ने इरशाद फरमाया जिसने खुशदिली से सवाब का तालिब होकर कुर्बानी कि वह जहन्नम की आग से हिजाब यानी रोक हो जाएगी
मेरे प्यारे इस्लामी भाइयों कुर्बानी जाहिरी तौर पर एक जानवर को अल्लाह के नाम पर ज़बह कर देने का नाम है लेकिन याद रखें कि कुर्बानी का मकसद सिर्फ जानवरों को ज़बह कर देना नहीं बल्कि हकीकत में कुर्बानी की रूह ये है कि बंदा एक खास फिदाकाराना जज्बे से अपने दिलो-दिमाग को मुनव्वर करके अपने अंदर ईसार फ़िदाकारी ईमानदारी निकोदारी तक्वा और परहेज़गारी का कमाल पैदा करे जैसा कि कुरान पाक में बिल्कुल वाज़ेह लफ्जों में कुर्बानी का मकसद बयान हुआ अल्लाह ताला ने इरशाद फरमाया हरगिज़ हरगिज़ खुदा की बारगाह में ना कुर्बानियों का गोश्त पहुंचता है ना उनका खून अलबत्ता तुम्हारी परहेज़गारी और नेकोकारी जो दरबारे खुदा में पहुंचती है वही तुम्हारे लिए निजात का जरिया है
हुजूर सल्लल्लाहो ताला अलेही वसल्लम ने कुर्बानी की
हजरत जाबिर रजि अल्लाहु ताला अन्हो से रिवायत है कि नबी ए करीम सल्लल्लाहो ताला अलैहि वसल्लम ने बकरा ईद के दिन सींघ वाले चित्कबरे खसी किए हुए 2 मेंढे ज़बह फरमाए जब आपने उनको किबला की तरफ लिटा दिया तो फरमाया मैंने अपना रुख उसकी तरफ किया जिसने जमीन और आसमान को पैदा फरमाया . दीने हनीफ पर चलते हुए और मैं मुशरिकीन में से नहीं हूं .बेशक मेरी नमाज मेरी कुर्बानी, मेरी जिंदगी और मौत अल्लाह के लिए है जो सारी कायनात का पालने वाला है उसका कोई शरीफ नहीं, और उसी का मुझे हुक्म दिया गया और मैं उसके सामने गर्दन झुकाने वालों में से हूं अल्लाह यह तेरे लिए और तुझ ही से है मोहम्मद सल्लल्लाहो ताला अलैहि वसल्लम और उनकी उम्मत की जानिब से अल्लाह के नाम के साथ अल्लाह सबसे बड़ा है .फिर आपने कुर्बानी के जानवर को ज़बह फरमाया
मेरे प्यारे दोस्तों अपने आका o मौला हुजूर सल्लल्लाहो ताला अलैहि वसल्लम के लुत्फ़ o कर्म को देखो कि आपने खुद अपनी उम्मत की तरफ से कुर्बानी फरमाई लिहाजा कुर्बानी करने वाले मुसलमानों से अगर हो सके तो अपने प्यारे नबी सल्लल्लाहो ताला अलैहि वसल्लम के नाम से भी कुर्बानी करें कि यह निहायत अजीम स’आदत की बात है कुछ जगहों पर देखा गया कि मालिके निसाब ने अपनी तरफ से पुर्बानी ना करके हुजूर सल्लल्लाहो ताला वसल्लम की तरफ से कुरबानी की यह दुरुस्त नहीं बल्कि मालिक निसाब पहले अपनी तरफ से करे, और फिर अगर उसके अंदर ताकत है तो हुज़ूर सल्लल्लाहो ताला अलैहि वसल्लम की तरफ से कुर्बानी करने के लिए दूसरे जानवर का इंतजाम करे |
हजरत अली रजि अल्लाह ताला अनहू की कुर्बानी
तिरमिज़ी में हज़रात अखनश रज़िअल्सेलहु अन्हु से रिवायत है वह कहते हैं कि मैं ने हजरत अली रजि अल्लाह ताला अनहु को देखा कि वह 2 मेंढे की कुर्बानी करते हैं मैंने कहा यह क्या है ? उन्होंने फरमाया कि रसूलूल्लाह सल्लल्लाहो ताला अलैहि वसल्लम ने मुझे वसीयत फरमाया की मैं हुजूर की तरफ से कुर्बानी करूँ लिहाज़ा मैं
हुजूर की तरफ से कुर्बानी करता हूं.
मेरे प्यारे इस्लामी भाइयों और बहनों इस हदीस ए पाक से यह पता चलता है कि हम अपने मरहूमीन के नाम से अगर कुर्बानी करेंगे तो अल्लाह ताला उसका सवाब उन्हें जरूर अता फरमाए गा लिहाज़ा हम से जो साहिबे हैसियत हैं उन्हें चाहिए कि अपने मरहूमीन के नाम से भी कुर्बानी करें और साथ ही अगर उनके अंदर ताकत और कुववत है तो हुज़ूर सल्लल्लाहो ताला अलैहि वसल्लम के नाम से भी कुर्बानी करें कि अल्लाह तबारक व ताला इसका बेहद अजरो सवाब अता फरमाए गा

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